Post of 1 June 2023
भारत मे 4 July को होने वाला आठ सदस्यों वाले Shanghai Cooperation Organisation (SCO) का सम्मेलन अब वर्चुअल फ़ॉर्मेट मे होगा, यानि चीन, रूस, पाकिस्तान, क़ज़ाखस्तान, तजाकिस्तान, किर्गिस्तान, उज़बेकिस्तान के राष्ट्राध्यक्ष भारत नही आ रहे हैं या आने से इंकार कर दिया।
भारत का यह एससीओ का वर्चुअल फ़ॉर्मेट मे सम्मलेन करना हम को आश्चर्यचकित नही किया क्योकि इघर कई सालों से भारत की विदेशनीति दुनिया मे असफल हो रही है, जिस को हम बहुत दिनो से लिखते आ रहे हैं।
भारत के कथित वरिष्ठ हिन्दी या अंग्रेज़ी पत्रकार, बुद्धिजिवीयों तथा विदेशमंत्रालय के अधिकारियों को यह समझ मे अब तक नही आ रहा है कि अमेरिका के बराक ओबामा के बेवक़ूफ़ी ने दुनिया की राजनीति दूसरे विश्वयुद्ध के बाद बदल दिया और भारत भूगत रहा है।
पिछले नौ साल से भारतीय संघ सरकार इसी गल्तफहमी मे मुबतला है कि अमेरिका हम लोगो को दूसरा चीन बना देगा क्योकि अमेरिका मे भारतीय प्रवासी (Diaspora) उच्च पद पर पहुँच गये हैं और वह इस्राईल के तरह भारत की भी लौबिईंग (Lobbying) करें गें।
पिछले साल सितंबर मे SCO Summit उजबेकिस्तान के एतिहासिक शहर समरकंद मे हुआ था जिस मे शी जिनपिंग, पुटिन, गुट्रेस, अरदोगान वगैरह ने व्यक्तिगत तौर पर भाग लिया और दो दिन वहॉ सभी नेता मेहमान रहे थे। निचे तस्वीर देखे जिस मे सभी नेता नाश्ता कर रहे हैं और कॉमेंट मे मेरा पोस्ट पढें।
#नोट: भारत के विदेशनीति के फेलियूर का यह एक #नमूना है।पिछले महीना कशमीर मे G20 पर्यटन सम्मेलन मे कुछ देश आने से इंकार कर गये थे, दुआ है कि G20 सम्मेलन मे सभी राष्ट्राध्यक्ष भारत आयें और हम लोग उन का भव्य स्वागत करें। जय अल हिन्द।