Post of 10th January 2022
मिस्र के नील नदी मे कमल का फूल नीला और सफ़ेद होता था और है।प्राचीन मिस्र के सभ्यता मे निल नदी का पानी बहुत पवित्र माना जाता था और वह भगवान पर भी चढ़ाया जाता था।
#कमल का फूल मिस्र मे बहुत पूजनये था और आज भी वहॉ लोग इस फूल की बहुत इजिजत करते है और यह मिस्र का #राष्ट्रीय_फूल है।नीचे दो तस्वीर मिस्र की है:
#एक तसवीर मे कैरो का मयूज़ियम है जो 1901 मे बना था।वहॉ बाहर छोटा तालाब बना कर कमल का फूल लगा हुआ है। हम वहॉ गये हैं।
#दूसरी तस्वीर देवी मात की है जो पर वाली हैं और उन के पैर के निचे कमल का फूल है। यह सब तस्वीर पिरामिड के दिवार मे रंगीन कलर से बनी नज़र आती है।चार साल मे पूरा बनारस और अयोध्या कोड दिया गया मगर कोई हजार साल पूरानी मूर्ती न शिव जी की मिली और न राम जी का मिला, न त्रिशूल मिला न तीर मगर मिस्र मे आज भी 7000-5000 पूरान मंदिर, शिव जी की मूर्ती, तीर-धनुष और सोना से बना रथ सही सलामत मिल रहा है।
हमारे यहॉ भी कमल का फूल पूजनीय है और पवित्र नारा लग रहा है “कमल के फूल पर वोट दे पाकिस्तान और चीन की छाती पर गलवान मे चोट दें”, जय हिन्द।
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Some comments on the post
Samser Ali सर काशी में जो धाम बनाया गया 60फुट+ निचे तक खुदाई की गई और इतने ही अंदर से बेस कालम पीलर दिया गया है ये सब हमने अपने आँखों से देखा है ज्ञानवापी मस्जिद आने जाने पर इस मस्जिद पर भी एक मुकदमा दायर किया गया है इसके लिए कि खुदाई करने का इसके निचे मंदिर का अवशेष मिलेगा यहां की लोकल मे जज साहब पंडित जी थे उनका तबादला कर दिया गया था उसके दस दिन बाद उनहोंने खुदाई का आर्डर कर दिया था जो कि उन्हें नई तैनाती पर जाना था तब मस्जिद कमेटी हाईकोर्ट से स्टे ले लिए
- Mohammed Seemab Zaman, Samser Ali साहेब, ताजुब है 60 फ़ुट+ खोदाई मे भी कोई प्राचीन शहर या मूर्ती नही मिला? पिछले महिना ईराक़ मे 48 फ़ुट नीचे खोदाई मे एक 5000 साल पूराना शहर मिला है।
- Asif Khan Mohammed Seemab Zaman सर बताइये आपको क्या लगता है। ज्ञानवापी मस्जिद का भविष्य क्या होगा।?
عبد الحسیب चीन अरुणाचल प्रदेश का नाम पता बदल रहा है उसपर किसी नेता के या मीडिया कर्मी के मुंह से चुह तक नही निकला , लेकिन उत्तर प्रदेश में हल्ला मचा रहे हैं ,, कमल पर वोट , पाकिस्तान पर चोट ,,असल मे बिना मुसलमान पाकिस्तान किए इनका राजनीति भाषण हो नही सकता , विकास किये होते तो उसपर चोट से वोट मांगते ,लेकिन क्या करें अंधेरी नगरी में काना राजा वाला हाल है
Firoz Siddiki यहां कोई इनका इतिहास है नहीं सर भाग कर आए और बस गए वहां नील नदी का पानी पवित्र था तो यहां गंगा का पानी पवित्र कर लिया.
Shamimul Haque फिर भी विश्व गुरु तो हम ही हैं और रहेंगे। सब कुछ हमारे देश में ही है। अभी कहीं प्लांट कर उसे 10000 साल का सिध्द करेंगे हम लोग। मानव सभ्यता का विकास यही यहीं 10-20 लाख करोड़ साल पहले हुआ। सब देश हमारे गुलाम थे। सभी जगह की सभ्यता यहीं से प्रेरणा लेकर बढ़ी।
Ansar Ahmad डीएनए याद आ गए इसी लिए दीये का निशान त्यागकर कमल अपनाया गया
Mohd Shaan मिस्र सीरीज से जुड़ी एक और रोचक जानकारी एवं उम्दा पोस्ट “सर”
Anish Akhtar बहुत खूब…कमल के फूल पर वोट दे और चीन की छाती पर गलवान में चोट दे…
Arif Kamal शानदार.
Mahtab Alam शानदार पोस्ट.
Mohd Arif nice post sir pata chal raha he inki jade kaha he.
Kalam Azmi सलीम शहजादा और उसके गुर्गे सबको दिशा भ्रमित कर दिए हैं सिर्फ भारत देश को खड्डा में डालने के लिए यानी भारत देश ब्राह्मण विदेशी है.