21 August 2024 

रूस के विदेश मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने पिछले सप्ताह कहा है कि राष्ट्रपति पुटिन दशकों से यूरोप और अमेरिका के प्रतिबंधों की उम्मीद को देखते हुऐ उस के काट की योजना बना रहे थे, जिस के कारण दो साल से चल रहे यूक्रेन युद्ध के बावजूद रूस की अर्थव्यवस्था तेजी से बढ़ रही है और अंतरराष्ट्रीय व्यापार में वृद्धि जारी है।

2015 में सऊदी अरब में शाह सलमान के बादशाह बन्ने के बाद रूस-सऊदी अरब के संबंध बहुत अच्छे हो गये। रूस OPEC+ का सदस्य बन कर दुनिया मे $100 billion का तेल बेचने लगा।

2019 मे राष्ट्रपति पुटीन ने कैस्पियन समुद्र (Caspian Sea) जो गैस-तेल से भरा पड़ा है, को पॉंच हिस्सा मे बाट कर तुर्कमेनिस्तान, कज़ाखस्तान, रूस, अज़रबाईजान और ईरान को बीस साल चले वार्ता के बाद दे दिया।कैस्पियन समुद्र पर रूस का क़ब्ज़ा सौ साल से अधिक समय तक रहा था मगर पुटिन ने शान्तिपूर्ण तरीक़ा से यह हल कर दिया।

कज़ाखस्तान उन कई देशों में से एक है, जहां यूक्रेन के आक्रमण के बाद से रूस और यूरोप के साथ व्यापार रहस्यमय तरीके से बढ़ रहा है।2021 में कज़ाखस्तान ने यूरोप से मिल कर तकनीकी उद्योग वाले $100 million क्षमता वाली 50 फ़र्म का निर्माण किया।

यह छोटी कज़ाक कम्पनीयॉ ने यूरोप से €700 million से ज़्यादा का इलेक्ट्रोनिक सामान आयात किया और 2023 मे $300 million का रसायन, मशीन, इलेक्ट्रॉनिक्स सामान रूस को निर्यात किया।2023 मे कज़ाखस्तान मे विदेशी निवेश 11% बढ़ गया।

अपनी जियोपोलिटक्स स्थिति के अलावा, सेंट्रल एशिया के पॉच देश कज़ाखस्तान, किर्गिस्तान, ताजिकिस्तान, तुर्कमेनिस्तान और उज़बेकिस्तान (C5) में तेल, गैस, यूरेनियम आदि प्रचुर मात्रा में उपलब्ध है। यही कारण है कि कज़ाक राष्ट्रपति क़ासिम अरब देश GCC की तरह सेंट्रल एशिया के C5 की साझा सुरक्षा के लिए बाहरी देशों के साथ मजबूत व्यापारी संबंधों के बनाने का प्रयास कर रहे हैं।

यूक्रेन युद्ध से सेन्ट्रल एशिया और आर्मेनिया, अज़रबाईजान, जॉर्जिया, तुर्की देशों की अर्थव्यवस्थाओं को बहुत फ़ायदा हुआ।रातों-रात लॉजिसिटक्स सेक्टर उभर गया और Cargo 20% बढ़ गया।सामूहिक रूप से, पाँच सेंट्रल एशिया के देशों की अर्थव्यवस्थाएँ 2023 में 6% बढ़ीं, जो 2022 में 4% थी।

रूस-यूक्रेन युद्ध शुरू होने से पहले तुर्की यूरोप को घरेलू उपकरणों के सबसे बड़े आपूर्तिकर्ताओं में से एक था।तुर्की की कंपनियाँ अब रूस के लिए ड्रोन और माइक्रोइलेक्ट्रॉनिक्स बना रही हैं। तुर्की की ड्रोन कम्पनी यूक्रेन में रूस के लड़ाई के पहले से ड्रोन बना रही थी।

#नोट: मेरा पिछले पॉच साल मे बहुत सारा पोस्ट सेंट्रल एशिया पर है और हम लिखते आये थे यह C5 भविष्य का मिडिल ईस्ट बने गा। अब यूक्रेन-रूस लड़ाई और इसराइल-प्रतिरोधी ताक़तों के मार-काट ने दुनिया मे मंगोल और बाबर के इन देशों को फिर सौ साल बाद फिर मंज़र-ए-आम कर दिया।